गाँव में कहीं दूर से आती हुई इंजन की आवाज..
रात में आती झींगुरों की आवाज
तेज हवा के चलने का रुआब
पत्थर के पानी में गिरने पर आती एक गहरी चीख
कुँए में अपना खुद का नाम चीख के वापस आती आवाज
पुल से रेल निकलते वक़्त बदल जाने वाली आवाज
यामाहा RX 100 के दुसरे गियर वाली आवाज
मम्मी,दादी के अलग से पहचान में आ जाने वाली पायल की आवाज
पिताजी के अखबार को झिड़क के खोलने पर आने वाली कड़क कागज़ी आवाज
पिताजी का स्कूटर गली में एंटर होते ही महसूस हो जाने वाली आवाज
स्टील के ग्लासों को कान में लगा लेने पे आने वाली गहरी आवाज..
बहते पानी का कोलाहल,
सुबह होते ही चिड़ियों का चहचहाना,
और इन सबके बीच बेचैन कर देने वाली,
इंटरवल ख़त्म हो जाने पर बजने वाली घंटी की आवाज..
आवाजों में भी एक सफर है..
आवाजों में भी एक कहानी है..
आवाजों का भी किरदार है..💖
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